मुख्य सचिव ने किया केदारनाथ धाम में पुनर्निर्माण कार्यों का निरीक्षण

मुख्य सचिव ने किया केदारनाथ धाम में पुनर्निर्माण कार्यों का निरीक्षण
मुख्य सचिव ने किया केदारनाथ धाम में पुनर्निर्माण कार्यों का निरीक्षण

रुद्रप्रयाग: उत्तराखंड के मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने  शनिवार को केदारनाथ में पुनर्निर्माण कार्यों का निरीक्षण किया। इस दौरान केदारनाथ में चिनूक हेलीकॉप्टर की लैंडिंग के लिए जरूरी कार्यों की जानकारी ली। बता दें कि केदारनाथ में चिनूक हेलीकॉप्टर की लैंडिंग के लिए एमआई-26 हेलीपैड की 50 मीटर लंबाई और 100 मीटर चौड़ाई बढ़ाए जाने का फैसला राज्य मंत्रिमंडल ने शुक्रवार को किया था।  मुख्य सचिव ने कहा कि केदारनाथ पुनर्निर्माण के दूसरे चरण के कार्यों के लिए चिनूक हेलीकॉप्टर से पोकलैंड, जेसीबी, डंपर व अन्य भारी मशीनें केदारनाथ पहुंचाई जाएंगी। इसके लिए हेलीपैड का विस्तार जरूरी है। इसके अलावा मुख्य सचिव ने डीडीएमए को मंदाकिनी नदी पर 60 मीटर स्पान पुल निर्माण दिसंबर तक पूरा करने के निर्देश दिए हैं।

पुल बनने से बीते 2013 की आपदा के बाद से ही वीरान पड़े गरूड़चट्टी का केदारनाथ से सीधा संपर्क हो जाएगा। उन्होंने आदिगुरु शंकराचार्य समाधि स्थल के पुनर्निर्माण कार्य 31 दिसंबर तक, सरस्वती नदी पर प्रस्तावित दो व्यूं प्वाइंट का निर्माण सितंबर तक, तीर्थपुरोहितों के लिए बन रहे भवनों का कार्य, ध्यान गुफा के लंबित कार्यों को समय पर पूरा करने के निर्देश दिए।
तीर्थ पुरोहितों ने सौंपा ज्ञापन 
मुख्य सचिव ओमप्रकाश से भेंट करते हुए तीर्थपुरोहितों ने उन्हें देवस्थानम बोर्ड व मास्टर प्लान के विरोध समेत तीन सूत्री मांगों का ज्ञापन सौंपा। कहा कि जब तक मांगें पूरी नहीं होतीं वे आंदोलनरत रहेंगे।केदार सभा के अध्यक्ष विनोद शुक्ला ने सीएस को बताया कि जून 2013 की आपदा के बाद केदारनाथ में पुनर्निर्माण के तहत तीर्थपुरोहित व हक-हकूकधारी अपनी कई नाली भूमि सरकार को दे चुके हैं, लेकिन अब एक मुट्ठी भूमि भी नहीं देंगे। कहा कि सरकार ने उन्हें बिना विश्वास में लेकर देवस्थानम बोर्ड का गठन किया है, जो उन्हें मंजूर नहीं हैं। उन्होंने मंदिर मार्ग के विस्तार से प्रभावित लोगों के लिए भवनों के निर्माण की मांग भी की।