उत्तराखंड: हिमस्खलन की चपेट में आने से करीब एक हजार भेड़-बकरियों की मौत

उत्तराखंड: हिमस्खलन की चपेट में आने से करीब एक हजार भेड़-बकरियों की मौत
उत्तराखंड: हिमस्खलन की चपेट में आने से करीब एक हजार भेड़-बकरियों की मौत

पिथौरागढ़ :उत्तराखंड के पिथौरागढ़ जिले के सुदूर धारचूला तहसील की उच्च हिमालयी दारमा घाटी में पिछले दिनों भारी हिमपात हुआ। इसके चलते खिसके ग्लेशियरों की चपेट में आने से करीब एक हजार भेड़, बकरियों की मौत हो गई। बालिंग से दुग्तू, दांतू तक चार से पांच फीट बर्फ जमी है। पंचाचूली ग्लेशियर को जाने वाले लोग बीच रास्ते ही वाहन छोड़कर भूखे प्यासे वापस लौट आए हैं। चरवाहों के पास खाने पीने को कुछ नहीं है।मिला जानकारी के मुताबिक बीते सप्ताह दारमा घाटी में भारी हिमपात हुआ है। हिमपात चलते नागलिंग, चलगम, बालिंग में ग्लेशियर खिसक गए हैं। तहसील मुख्यालय से करीब 65 किमी दूर नागलिंग से लेकर ढाकर तक ग्लेशियरों की बर्फ की चपेट में आने से लगभग एक हजार भेड़ - बकरियों की मौत हो चुकी है। जिसमें हिमांचल प्रदेश के गद्दी रमेश की 250, भीम राम की 200, नरेंद्र सुयाल, ईश्वर नेगी, लाल सिंह दरियाल, लक्ष्मण सिंह दरियाल की लगभग छह सौ बकरियां बर्फ में दब कर मर गई हैं। चरवाहों ने बड़ी मुश्किल से अपनी जान बचाई।
इस दौरान पिथौरागढ़ से पंचाचूली बेस कैंप के लिए त्रिलोक सिंह महर के नेतृत्व में गया दल बड़ी मुश्किल से जान बचा कर लौटा। दल को वाहन छोड़ कर पैदल आना पड़ा । दल में शामिल लोगों ने बताया कि क्षेत्र में चारों तरफ ग्लेशियर खिसके हैं और भारी हिमपात है। चरवाहों के पास खाने को राशन पानी तक नहीं है। भूखे-प्यासे ही वे पैदल चल रहे हैं।

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