हरियाणा: IPS अफसर पर यौन शोषण के आरोप का मामला, सात महिला पुलिसकर्मी महिला आयोग पहुंचीं, आरोपी महिला DSP से हुई पूछताछ
हरियाणा में महिला पुलिस यौन शोषण मामले में आज महिला आयोग के फरीदाबाद स्थित कार्यालय में करीब 7 महिला पुलिसकर्मी पहुंची। ये सभी महिलाएं जींद जिले में पुलिस महकमें में ड्यूटी कर रही हैं।इन सभी महिला पुलिसकर्मियों से राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रेणु भाटिया ने एक-एक कर बयान लिए। साथ ही रेणु भाटिया ने आरोपी महिला डीएसपी से भी मुलाकात की और उनसे मामले में पूछताछ भी की।
आपको बता दें कि हाल ही में एक लेटर वायरल हुआ था जिसमें जींद जिले में तैनात सात महिला पुलिस कर्मियों ने आईपीएस लेवल के अधिकारी पर महिला पुलिसकर्मियों के यौन शोषण के आरोप लगाए थे।
इस बाबत उन्होंने मुख्यमंत्री के नाम एक चिट्ठी लिखी थी जिसमें सात महिला पुलिसकर्मियों के हस्ताक्षर भी थे। मामले ने उस वक्त तूल पकड़ा जब ये चिट्ठी वायरल हो गई।
वायरल हुई चिट्ठी में सात नाम थे लेकिन उन सात नामों से मिलती-जुलती 19 महिला पुलिसकर्मी जींद जिले में कार्यरत थीं। आयोग इन सभी महिला पुलिसकर्मियों से पूछताछ करेगा हालांकि आज सिर्फ सात महिला पुलिसकर्मी ही आयोग के पास पहुंचीं जिनसे रेणु भाटिया ने बातचीत की।
इस मामले में रेणु भाटिया वीडियो कॉल के जरिए एसपी से भी बात कर चुकी हैं। वहीं आरोपी IPS अधिकारी से भी बात कर चुकी हैं। बात सरकार की करें तो मामले में सरकार ने 3 नवंबर को ADGP ममता सिंह के नेतृत्व में SIT बनाई थी। जिसके बाद एडीजीपी चार नवंबर के दिन जींद जिले में पहुंचीं थी उनके साथ एसपी आस्था मोदी भी थीं। यहां पुलिस लाइन में एडीजीपी ने 30 महिला पुलिस कर्मचारियों के बयान दर्ज किए थे।
आपको बता दें कि इस मामले में तीन स्तरीय जांच चल रही है। महिला आयोग की टीम के साथ-साथ 2 आईपीएस अधिकारी एक साथ इस केस की जांच कर रहे हैं। पहले फतेहाबाद की महिला एसपी आस्था मोदी जांच कर रही थीं, जिनके ऊपर ADGP ममता सिंह को लगाया गया। इसके अलावा हिसार आईजी ने हिसार एसपी के नेतृत्व में एसआईटी बनाई है जो इस केस के अलग पहलुओं की जांच कर रहे हैं। इस मामले में दो एफआईआर भी दर्ज हो चुकी हैं।
दरअसल वायरल चिट्ठी में महिला पुलिसकर्मियों ने लिखा था कि मैं एक महिला पुलिसकर्मी हूं और अपना काम ईमानदारी से करती हूं। मेरे जिले में तैनात IPS अधिकारी सुंदर महिला पुलिस कर्मचारियों पर गंदी नजर रखते हैं। पुलिसकर्मियों ने चिट्ठी में ये भी लिखा था कि मैंने महिला SHO मैडम को जब बात बताई तो वो भड़क गईं और कहने लगीं कि अफसरों को कोऑपरेट करना पड़ता है। मैडम की ये बात सुन मैं रोते हुए SP आवास से बाहर निकल गई। चिट्ठी में लिखा गया है कि फिर मैंने ये बात महिला DSP मैडम को बताई। डीएसपी ने भी कहा कि प्रमोशन के लिए अफसरों को ओऑपरेट करना पड़ता है। इसलिए मेरी बात मानो तो थोड़ा कोऑपरेट करो। इसके बाद देखो तुम्हारा प्रमोशन पक्का और उसेक बाद तुम रूपयों में खेलोगी।
वायरल चिट्ठी में महिला पुलिसकर्मियों ने ये भी लिखा था कि महिला थाने की SHO मेरे पीछे पड़ गई और मेरी ACR खराब करने की धमकियां देकर मेरा मेंटली टॉर्चर करने लगी। चिट्ठी में आरोप लगाया गया है कि SHO के पुलिस अधिकारी के साथ नाजायज संबंध हैं और एसएचओ ने एक गिरोह बनाया हुआ है, जिसमें कई युवतियां शामिल हैं। चिट्ठी में लिखा गया है कि ये अमीर घर के लड़कों पर फर्जी केस दर्ज करवाते हैं और फिर लाखों रुपये लेकर समझौते करवाते हैं। इस खेल में SHO, DSP और SP तीनों मिलकर काम कर रहे हैं।
बहरहाल ये चिट्ठी शिकायत के तौर पर मुख्यमंत्री नायब सैनी को लिखी गई थी। लेकिन इसके वायरल होने के बाद ये बड़ा मुद्दा बन गया। वहीं वायरल चिट्ठई में सात महिला पुलिसकर्मियों के हस्ताक्षर भी हैं।
वहीं वायरल चिट्ठी पर बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष मोहन लाल बड़ौली का कहना है कि एसपी पर लगे यौन उत्पीड़न के आरोपों की जांच करवाई जाएगी और आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।