उत्तराखंड: सीेएम तीरथ की मंत्रियों के साथ बैठक, लॉकडाउन पर बड़ा निर्णय ले सकती है सरकार

उत्तराखंड: सीेएम तीरथ की मंत्रियों के साथ बैठक,  लॉकडाउन पर बड़ा निर्णय ले सकती है सरकार
CM Tirath Singh Rawat (File Pic)

देहरादून: उत्तराखंड की तीरथ सरकार आज यानी बुधवार को पूरे प्रदेश में लॉकडाउन पर बड़ा फैसला ले सकती है। तीरथ कैबिनेट के कई मंत्री अब खुले रूप से इसकी हिमायत भी कर रहे हैं। शासकीय प्रवक्ता सुबोध उनियाल के मुताबिक बुधवार को इस मामले को लेकर बैठक बुलाई गई है। बैठक में मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत और अन्य मंत्री भी शामिल होंगे। प्रदेश की स्थिति को देखते हुए फैसला किया जाएगा।वहीं केंद्र सरकार ने राज्यों में लॉकडाउन की पैरवी तो नहीं की, लेकिन राज्यों से कहा है कि वे 10 फीसदी से अधिक संक्रमण दर वाले जिलों में लॉकडाउन पर विचार कर सकते हैं। इस लिहाज से देखें तो उत्तराखंड के अधिकतर जिलों में संक्रमण दर 10 फीसदी से अधिक ही है। कोविड कर्फ्यू के बाद भी कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रदेश सरकार अब सख्त फैसला करने को विवश हो सकती है।
दूसरी ओर प्रदेश के कुछ मंत्री अब लॉकडाउन के पक्ष में खुलकर बोल रहे हैं। वन मंत्री हरक सिंह का कहना है कि प्रदेश में हालात सुधर नहीं रहे हैं। कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए अब सख्त कदम उठाए जाने चाहिए। हरक सिंह का समर्थन कई और मंत्री भी कर रहे हैं। 
पूर्व सीएम त्रिवेनद्र ने भी की सख्ती की पैरवी
पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा है कि कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए कोरोना कर्फ्यू को सख्त करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि अमूमन यह देखने में आ रहा है कि सब्जी मंडी में भी भीड़ उमड़ रही है। मास्क के प्रयोग को लेकर बेपरवाही है। ऐसे में सख्त कदम उठाने जरूरी हैं। उन्होंने यह भी कहा कि लाकडाउन से कोरोना की चेन टूटेगी, मगर सरकारों को सभी तरह की व्यवस्था देखनी होती है।
सख्त कदम उठाए सरकार : हरीश रावत
उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत ने भी सरकार से कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए सख्त कदम उठाने की मांग की है। हरीश रावत ने कहा कि अब कोरोना की तीसरी लहर की बात की जा रही है। यह और भी खतरनाक साबित हो सकती है। सरकार को कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए सख्त से सख्त कदम उठाने चाहिए।
कर्मचारी संगठनों ने की 15 दिन के सख्त लॉकडाउन की मांग
प्रदेश में लगातार बढ़ते जा रहे कोरोना संक्रमण के बीच अब कर्मचारी संगठन 15 दिन के सख्त लॉकडाउन के पक्ष में खड़े हो गए हैं। मंगलवार को भी तीन संगठनों ने इस संबंध में मुख्यमंत्री के सामने मांगें रखीं। सभी का कहना था कि इस मुश्किल वक्त में कोरोना चेन को तोड़ने के लिए लॉकडाउन की भारी दरकार है।
सचिवालय संघ ने कहा, 15 दिन का लॉकडाउन जरूरी
उत्तराखंड सचिवालय संघ के अध्यक्ष दीपक जोशी, महासचिव विमल जोशी ने मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर कहा कि राज्य में कोरोना का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। राज्य सरकार के हरसंभव प्रयास के बाद भी कोरोना पीड़ितों की संख्या घटने का नाम नहीं ले रही है। प्रदेश का कार्मिक वर्ग हो या आम जनमानस, हर घर में कोई न कोई कोरोना से ग्रसित होता जा रहा है।
प्रदेश के वरिष्ठ अधिकारियों, कार्मिकों, उनके परिवार के सदस्यों की मन:स्थिति तथा आम जनमानस से प्राप्त फीडबैक, भावनाओं के अनुरूप प्रदेश के सभी नागरिकों के स्वास्थ्य एवं जीवन रक्षा के हित में कोरोना की चेन को तोड़ने का एकमात्र विकल्प 15 दिन का संपूर्ण लॉकडाउन ही है। उन्होंने मांग की है कि इसी अनुरूप सभी कार्यालय इकाईयों को भी बंद किया जाए और वर्क फ्रॉम होम की व्यवस्था के हिसाब से काम किए जाए। 
कर्मचारी संयुक्त परिषद ने भी की लॉकडाउन की मांग
राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद ने मंगलवार को आपात वर्चुअल बैठक बुलाई। बैठक में तय किया गया कि राज्य कर्मियों की सुरक्षा के लिए सरकार व प्रशासन से कम से कम 15 दिन के लिए सभी कार्यालय बंद करने की मांग की जाए। सरकार से मांग की कि 15 दिन का सख्त लॉकडाउन लगाया जाए। कहा गया कि खतरे के बीच कर्मचारियों को उपस्थित होने के लिए बाध्य किया जा रहा है।