हर लक्षणयुक्त व संदिग्ध व्यक्ति की एंटीजन जांच की जाए: सीएम योगी

हर लक्षणयुक्त व संदिग्ध व्यक्ति की एंटीजन जांच की जाए: सीएम योगी
CM Yogi Aditya Nath (File Pic)

लखनऊ: मुख्यमंत्री  योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि हर जिला अस्पताल में न्यूनतम 10-15 बेड और मेडिकल कॉलेज में 25-30 बेड की क्षमता वाले पीडियाट्रिक आईसीयू को तैयार कराया जाए। मंडल मुख्यालय पर न्यूनतम 100 बेड का पीडियाट्रिक आईसीयू होना चाहिए। हर लक्षणयुक्त व संदिग्ध व्यक्ति की एंटीजन जांच की जाए। आरआरटी टीम की संख्या बढ़ाई जाए। 
मुख्यमंत्री ने मंगलवार को टीम 9 के साथ बैठक में यह निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि  विशेषज्ञों के आकलन के मद्देनजर सभी जिलों में बच्चों के स्वास्थ्य सुरक्षा के विशेष इंतजाम करने की आवश्यकता है। इस उद्देश्य से सभी जिला अस्पतालों में आवश्यक चिकित्सकीय उपकरण, मेडिसिन आदि की उपलब्धता करा ली जाए। इस संबंध में चिकित्सकों व अन्य स्टाफ का प्रशिक्षण कराया जाए। 
मेडिकल किट वितरण का सांसद विधायक  करें सत्यापन 
मुख्यमंत्री ने कहा कि निगरानी समितियां  समितियां होम आइसोलेट मरीजों को तथा अन्य संदिग्ध लक्षणयुक्त लोगों को मेडिकल किट प्रदान करती हैं। निगरानी समितियां जिन्हें मेडिकल किट पाने वालों के नाम और फोन नम्बर आइसीसीसी को उपलब्ध कराएं। आइसीसीसी इसका पुन: सत्यापन करे। इसके अतिरिक्त जिलाधिकारी के माध्यम से इसकी एक प्रति स्थानीय जनप्रतिनिधियों को उपलब्ध कराया जाए, ताकि सांसद/विधायकगण मेडिकल किट प्राप्त कर स्वास्थ्य लाभ कर रहे लोगों से संवाद कर सकें। इससे व्यवस्था का क्रॉस वेरिफिकेशन भी हो सकेगा। 
डीएम -सीएमओ जिम्मेदार होंगे 
सीएम ने कहा कि सभी जिलों में उपलब्ध कराए गए वेंटिलेटर और ऑक्सीजन कंसंट्रेटर  क्रियाशील होना चाहिए। संबंधित जिलों से संपर्क कर इस संबंध में उनकी समस्याओं का निराकरण कराएं। इसके उपरांत भी यदि वेंटिलेटर/ऑक्सीजन कंसंट्रेटर क्रियाशील न होने की सूचना प्राप्त हुई तो संबंधित डीएम व सीएमओ की जवाबदेही तय की जाए ।
मुख्यमंत्री ने कहा कि भविष्य की चुनौतियों के दृष्टिगत चिकित्सकीय मानव संसाधन की उपलब्धता के लिए नियोजित प्रयास किए जा रहे हैं। मेडिकल/पैरामेडिकल अंतिम वर्ष, इंटर्न, प्रशिक्षण पूर्ण कर चुके युवा, सेवानिवृत्त अनुभवी लोगों की सेवाएं ली जानी चाहिए। इस संबंध में चयन एवं नियुक्ति की प्रक्रिया एक सप्ताह में पूर्ण कर लिया जाए। चिकित्सा शिक्षा मंत्री स्तर से इसकी विस्तृत समीक्षा कर ली जाए।