उत्तरकाशी जिला पंचायत अध्यक्ष मामले में धामी सरकार को लगा करारा झटका, बहाल हुए अध्यक्ष

उत्तरकाशी जिला पंचायत अध्यक्ष मामले में धामी सरकार को लगा करारा झटका, बहाल हुए अध्यक्ष
सांकेतिक तस्वीर

नैनीताल:उत्तरकाशी में वित्तीय अनियमितताओं के आरोप में बर्खास्त किए गए जिला पंचायत अध्यक्ष को बड़ी राहत मिली है। उच्च न्यायालय ने गिरफ्तारी पर रोक लगाने के साथ ही बर्खास्तगी के आदेश पर भी रोक लगा दी है। जिला पंचायत अध्यक्ष ने इसे आम आदमी की जीत बताया है। वहीं मामले में धामी सरकार ने मुंह की खाई है।
बीते सात जनवरी को सरकार ने जिला पंचायत अध्यक्ष दीपक बिजल्वाण को पद से बर्खास्त कर दिया था। दीपक बिजल्वाण पर वित्तीय अनियमितताओं के आरोप लगाए गए थे। जिला पंचायत के अध्यक्ष के कार्यों का दायित्व जिलाधिकारी मयूर दीक्षित को सौंपे गए थे। मयूर दीक्षित ने जिला पंचायत अध्यक्ष के कार्यों का दायित्व भी ग्रहण कर लिया था। जिला पंचायत अध्यक्ष इसी माह कांग्रेस में शामिल हुए थे। कांग्रेस में शामिल होने के बाद बिजल्वाण ने चिन्यालीसौड़ में एक बड़ी रैली का आयोजन किया था। जिसमें कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल व पूर्व सीएम हरीश रावत ने भी शिरकत की थी। इसी दिन सरकार ने उन्हें वित्तीय अनियमितता के आरोप में पद से बर्खास्त कर दिया था। 
हालांकि, दीपक ने सरकार के इन निर्णय को मामने से साफ इनकार कर दिया था। दीपक का कहना था कि सरकार ने बदले की भावना से यह निर्णय लिया है। वह जनता के चुने हुए जनप्रतिनिधि हैं। जिसे सरकार एकतरफा बर्खास्त नहीं कर सकती। गुरुवार को दीपक बिजल्वाण ने अमर उजाला से फोन पर बातचीत में बताया कि उच्च न्यायालय से उन्हें जीत मिली है। न्यायालय ने उनके बर्खास्तगी के आदेश पर रोक लगा दी है।
असत्य पर सत्य की जीत हुई हैं। षडयंत्रकारियों के मुंह पर तमाचा लगा है। जीत का सिलसिला शुरू हो गया है। जो आगे भी जारी रहेगा। हमेशा निस्वार्थ भाव से जनता की सेवा की है और करता रहूंगा। दीपक बिजल्वाण, जिला पंचायत अध्यक्ष, उत्तरकाशी।